आरटीआइ देकर छात्र देख सकेंगे उत्तर पुस्तिका
ठ्ठ जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली छात्र सूचना के अधिकार कानून (आरटीआइ) के तहत अपनी उत्तर पुस्तिकाएं देख सकते हैं। मंगलवार को सुप्रीमकोर्ट ने अपने एक अहम फैसले में कहा कि जांची जा चुकी उत्तर पुस्तिकाएं आरटीआइ कानून में दी गई सूचना की परिभाषा के तहत आती हैं। सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद सभी तरह की परीक्षाओं में शामिल होने वाले विद्यार्थियों को आरटीआइ के तहत अपनी जांची जा चुकी उत्तर पुस्तिकाएं देखने का अधिकार होगा। यह महत्वपूर्ण फैसला न्यायमूर्ति आरवी रवीन्द्रन व एके पटनायक की पीठ ने कलकत्ता हाईकोर्ट के 5 फरवरी 2009 के फैसले को सही ठहराते हुए सुनाया है। कलकत्ता हाईकोर्ट ने भी अपने फैसले में कहा था कि छात्र आरटीआइ के तहत अपनी उत्तर पुस्तिकाएं देख सकते हैं। हाईकोर्ट ने तो यहां तक कहा था कि जब मतदाताओं को उम्मीदवार का बायोडाटा जानने का अधिकार है तो छात्रों को तो अपनी उत्तर पुस्तिकाएं देखने का उससे ज्यादा अधिकार है। हाईकोर्ट के इस फैसले को सीबीएसई, वेस्ट बंगाल बोर्ड आफ सेकेन्ड्री एजूकेशन, इंस्टीट्यूट आफ चार्टर्ड एकाउंटेंट आफ इंडिया, कलकत्ता विश्वविद्यालय, वेस्ट बेंगाल काउंसिल आफ हायर सेकेन्ड्री एजूकेशन, चेयरमैन वेस्ट बंगाल सेंट्रल स्कूल सर्विस कमीशन, असम सर्विस पब्लिक सर्विस कमीशन, व बिहार
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